ईद मिलन कार्यक्रम: मोहब्बत, भाईचारे और इंसानियत का पैग़ाम

रायपुर।
ईद की ख़ुशी तभी मुकम्मल होती है जब उसमें सिर्फ अपने घर के लोग ही नहीं, बल्कि समाज के हर तबके और धर्म के लोग भी शरीक हों। के दौर में जब देश में अल्पसंख्यकों को लेकर शंकाएँ और प्रोपेगेंडा आम हो चला है, ऐसे में आपसी सहिष्णुता, अमन और भाईचारे का संदेश देना वक्त की सबसे अहम ज़रूरत बन गया है।
इसी उद्देश्य से जमाअत इस्लामी हिंद, रायपुर की ओर से दिनांक 7/4/25 को बैरन बाजार स्थित वृंदावन हॉल में एक ईद मिलन कार्यक्रम का आयोजन किया गया, जिसका मकसद था ईद की खुशियों को सभी धर्मों और समुदायों के साथ बाँटना, इंसानियत को बढ़ावा देना और समाज में भाईचारे का माहौल मज़बूत करना।
इस कार्यक्रम में रायपुर शहर के विभिन्न धार्मिक समुदायों के सम्मानित व्यक्तियों ने हिस्सा लिया, जिनमें सिख, ईसाई और अन्य अल्पसंख्यक प्रतिनिधि शामिल थे।
मनमोहन सेलानी साहब ने अपने संबोधन की शुरुआत गुरु गोबिंद सिंह जी के उपदेशों से करते हुए एक प्रभावशाली और मोहब्बत भरा पैग़ाम दिया। मुबीन ख़ान साहब, जो जमाअत इस्लामी के ‘ मुख्य सलाहकार’ के सचिव हैं, ने ईद के असली संदेश को उजागर किया और जमाअत की इंसानियत-नवाज़ सेवाओं पर रोशनी डाली। नंद किशोर जी ने “हक़ूक़ुल इबाद” (मानव अधिकारों) पर ज़ोर देते हुए भाईचारे और दिलों को जोड़ने की अहमियत पर बात की। नज़र हुसैन साहब ने ईद की रूह को अल्लाह की इबादत, सब्र, शुक्र और एक ज़िम्मेदार नागरिक बनने से जोड़ते हुए अपने विचार साझा किए।
कार्यक्रम के मुख्य अतिथि नौशाद अहमद साहब (ज़िम्मेदार, जमाअत इस्लामी महाराष्ट्र) ने फ्रीडम ऑफ स्पीच के सन्दर्भ में अल्पसंख्यकों के बीच एकता और सहयोग की अहमियत पर चर्चा की। उन्होंने “मत भेद” और “मन भेद” के अंतर को समझाते हुए शिवाजी और औरंगज़ेब के ऐतिहासिक संबंधों का सही चित्र प्रस्तुत किया, जिससे यह संदेश मिला कि इतिहास में भी अलग विचार रखने वाले लोग मिल-जुलकर अमन के साथ जिए।
कार्यक्रम के समापन पर जनाब शफ़ीक़ अहमद साहब (स्टेट प्रेसिडेंट) ने सभी मेहमानों का तहे दिल से शुक्रिया अदा करते हुए इस बात पर ज़ोर दिया कि देश की एकता, भाईचारा और इंसानियत को ज़िंदा रखना हम सभी की साझा ज़िम्मेदारी है।
यह कार्यक्रम सिर्फ एक त्योहार मनाने का ज़रिया नहीं था, बल्कि इंसानियत को बढ़ावा देने, सामाजिक सौहार्द को मज़बूत करने और एक सकारात्मक समाज के निर्माण की दिशा में एक अहम क़दम था।
कार्यक्रम का मंच संचालन जनाब सुहैब अख्तर ने किया और कार्यक्रम को सफल बनाने उसके वॉलिंटियर शादाब अमजद, अय्यूब खान, अमान,अज़हर,हैदर, सुहैल अख्तर , मोहिब खान,फारूक लीला,यार खान,साजिद(शहर अध्यक्ष sio) आदि ने अहम भूमिका निभाई।
अंत में सभी ने मिलकर ईद का शिरखुरमा और भोजन एक साथ किया और आपस में एक दूसरे को मुबारकबाद दी।