छत्तीसगढ़: प्रेशर बम से 10 साल के बालक की मौत, नक्सली बनाते हैं सुरंग, 3 महीने 6 की हुई मौत


बीजापुर /

छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित बीजापुर जिले में शनिवार को बम की चपेट में आने से 10 वर्षीय बालक की मौत हो गई. पुलिस अधिकारियों ने बताया कि जिले के गंगालूर थानाक्षेत्र में पीड़िया गांव के करीब प्रेशर बम की चपेट में आने से हिड़मा कवासी की मौत हो गई.

उन्होंने बताया कि मुतवेंडी गांव निवासी हिड़मा बकरी चराने के लिए जंगल गया था. वहीं, दोपहर ढ़ाई बजे जब वह पीड़िया गांव के पास था तब उसका पैर प्रेशर बम के ऊपर पड़ गया, इससे बम में विस्फोट हो गया और बालक गंभीर रूप से घायल हो गया. वहीं, आनन फानन में उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया. जहां अत्यधिक खून बहने के कारण बालक की मौत हो गई.

CRPF के जवानों ने अस्पताल में भर्ती कराया

अधिकारियों ने बताया कि विस्फोट के दौरान बालक की मां कुछ दूरी पर मौजूद थी. जिसके कारण वह विस्फोट की चपेट में आने से सुरक्षित बच गई. उन्होंने बताया कि महिला ने ग्रामीणों को घटना की जानकारी दी, इसके बाद वे बच्चे को पैदल ही केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (CRPF) के मुतवेंडी शिविर ले गए.

अधिकारियों ने बताया कि बालक को शिविर में प्रारंभिक उपचार दिया गया. और फिर सीआरपीएफ के जवानों ने उसे बीजापुर जिला अस्पताल में भर्ती कराया. गंगालूर और बीजापुर के बीच चेरपाल में नदी पर बने पुल के ऊपर पानी बह रहा था, इसलिए इसे पार करने में समय लगा और बालक को शाम लगभग छह बजे अस्पताल में भर्ती कराया गया. जहां अत्यधिक खून बहने के कारण बालक की मौत हो गई.

पिछले 100 दिनों में छह लोगों की हो चुकी है मौत

बस्तर क्षेत्र के अंदरूनी इलाकों में गश्त कर रहे सुरक्षाकर्मियों को निशाना बनाने के लिए नक्सली अक्सर सड़कों और निर्माणाधीन सड़कों के किनारे तथा जंगल के कच्चे रास्तों पर प्रेशर बम या बारूदी सुरंग लगा देते हैं.

पुलिस अधिकारियों ने बताया कि बीजापुर समेत सात जिलों वाले इस क्षेत्र में पहले भी ऐसे विस्फोट में नागरिक हताहत हुए हैं. पुलिस के अनुसार पिछले साढ़े तीन महीनों में बीजापुर जिले में अलग-अलग जगहों पर बारूदी सुरंग विस्फोट की घटनाओं में छह लोगों की मौत हो चुकी है.


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